Diageo और RCB का रिश्ता खतरे में: Health Ministry के Alcohol Branding बैन से हड़कंप
Diageo और RCB का रिश्ता खतरे में: Health Ministry के Alcohol Branding बैन से हड़कंप

IPL में अब नहीं चलेगा “Liquid Marketing”? Diageo का RCB से नाता टूट सकता है!
IPL (Indian Premier League) सिर्फ क्रिकेट नहीं, बल्कि brands, money, और marketing का बड़ा मेला बन चुका है। लेकिन अब लगता है कि भारत की सरकार इस खेल में छिपे liquor branding loopholes को बंद करने के मूड में है। इसी कड़ी में Diageo, जो कि RCB (Royal Challengers Bengaluru) टीम की majority stakeholder है, अब अपनी टीम से जुड़ाव को लेकर दोबारा सोचने पर मजबूर हो गया है।
Diageo और RCB का रिश्ता खतरे में:
क्यों आया ये बदलाव?
भारत की Health Ministry ने IPL में बढ़ते alcohol और tobacco ब्रांड्स के प्रचार-प्रसार पर गंभीर चिंता जताई है। सरकार की ओर से ये स्पष्ट संकेत दिए गए हैं कि:
- Surrogate advertising के ज़रिये शराब ब्रांड्स का प्रचार बंद होना चाहिए
- Cricket जैसे लोकप्रिय खेल का उपयोग unhealthy products को promote करने के लिए नहीं किया जा सकता
- Youth exposure को लेकर भी सरकार सख्त हो गई है
IPL sponsorship controversy:
RCB की पहचान और Diageo का प्रभाव,
Diageo, दुनिया की सबसे बड़ी शराब कंपनियों में से एक है, जो RCB टीम का 55% से अधिक मालिकाना हक रखती है।
RCB का ब्रांड, इसके विज्ञापन, स्पॉन्सरशिप और event presence में Diageo की झलक साफ दिखाई देती है।
RCB के कुछ प्रमुख स्पॉन्सर और campaign Diageo से जुड़े रहे हैं:
🔹 Royal Challenge Sports Drink
🔹 McDowell’s No. 1 Yaari
🔹 Cheers to Brotherhood जैसी campaigns
ये सभी सीधे तौर पर alcoholic products तो नहीं दिखाते, लेकिन ये surrogate branding के classic उदाहरण हैं।
अब क्या कर सकती है Diageo?
Health Ministry के दबाव में अब Diageo को अपने sports marketing strategy in India को re-evaluate करना पड़ सकता है।
📌 Team ownership में बदलाव
📌 Brand visibility कम करना
📌 पूरी तरह से IPL से exit strategy पर विचार
Diageo के लिए भारत एक बड़ा growth market रहा है, लेकिन यदि marketing avenues बंद होते हैं, तो यह निवेश कम प्रभावी हो सकता है।
Global Trend vs Indian Regulation:
दुनिया के कई देशों में alcohol sponsorship in sports को लेकर पहले से ही कड़े नियम हैं।
लेकिन भारत में ये loopholes और grey areas की वजह से अभी तक चलता रहा।
अब सरकार साफ इशारा दे रही है कि:
✅ IPL, जैसे बड़े platforms पर alcohol/tobacco branding नहीं चलेगी
✅ Celebrity endorsements पर भी accountability तय की जाएगी
✅ Youth-oriented content में strict filters लगाए जाएंगे
Impact सिर्फ RCB तक सीमित नहीं रहेगा:
यह regulatory shift सिर्फ Diageo या RCB तक सीमित नहीं रहेगा, बल्कि इसका असर पूरे Indian sports sponsorship ecosystem पर पड़ेगा।
Beer brands, Gutka companies, e-cigarette promoters — सभी को अब अपनी strategies में बदलाव लाना होगा।
निष्कर्ष: Branding का मैदान बदल रहा है
IPL अब सिर्फ बल्लेबाज़ी और गेंदबाज़ी का खेल नहीं रहा, यह brand politics और regulation का battleground बन चुका है।
Diageo जैसी कंपनियों को अब भारत में marketing ethics और regulatory discipline को ध्यान में रखते हुए आगे बढ़ना होगा।
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